केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह का बस्तर दौरा मौसम की खराबी के कारण स्थगित कर दिया गया है। वे सोमवार सुबह नारायणपुर जाने वाले थे, जहां उनका नक्सल प्रभावित इलाकों के ग्रामीणों से संवाद करने और बीएसएफ कैंप में जवानों से मुलाकात कर उनका मनोबल बढ़ाने का कार्यक्रम निर्धारित था।
छत्तीसगढ़ के उपमुख्यमंत्री और गृहमंत्री विजय शर्मा ने दौरा रद्द होने की पुष्टि करते हुए बताया कि लगातार बारिश और खराब मौसम की वजह से यह निर्णय लिया गया।
हालांकि, शाह का छत्तीसगढ़ दौरा यहीं खत्म नहीं हुआ। अपने दो दिवसीय प्रवास के तहत उन्होंने राजधानी रायपुर में कई अहम बैठकों में हिस्सा लिया। इन बैठकों में नक्सलियों के खिलाफ चल रहे अभियानों की समीक्षा की गई और आगामी रणनीति को अंतिम रूप दिया गया।
अमित शाह ने स्पष्ट किया है कि सरकार अब नक्सलवाद के खिलाफ निर्णायक कदम उठाने के लिए पूरी तरह तैयार है। उन्होंने कहा कि नक्सलियों को समाज की मुख्यधारा में लौटने का एकमात्र रास्ता हिंसा त्यागना है। उन्होंने यह भी दोहराया कि सरकार किसी भी सूरत में हिंसा का समर्थन नहीं करेगी और नक्सलियों से किसी बातचीत की संभावना को खारिज कर दिया।
शाह ने यह भी ऐलान किया कि मानसून के दौरान नक्सल रोधी अभियान धीमा नहीं पड़ेगा। उन्होंने कहा कि इस बार बरसात में नक्सली चैन की नींद नहीं सो पाएंगे। केंद्र सरकार की योजना है कि मार्च 2026 तक देश से नक्सलवाद को पूरी तरह समाप्त कर दिया जाए, और इसके लिए हरसंभव कदम उठाए जा रहे हैं।
इस बयानबाजी और रणनीतिक तेवर से साफ है कि नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में अब सरकार आर-पार की लड़ाई के मूड में है।

