बॉलीवुड में हीरो बनने का सपना तो कई लोग देखते हैं, लेकिन इस सपने को सच करने के लिए जो संघर्ष और मेहनत चाहिए, वह बहुत कम लोग कर पाते हैं। हर्षवर्धन राणे (Harshvardhan Rane) उन चुनिंदा लोगों में से एक हैं, जिन्होंने अपनी मेहनत और लगन से बॉलीवुड में अपनी पहचान बनाई। उनकी फिल्म ‘सनम तेरी कसम’ ने हाल ही में 9 साल बाद सिनेमाघरों में दोबारा रिलीज होकर बॉक्स ऑफिस पर धमाल मचा दिया है। इस फिल्म ने न केवल अपने पहले रिलीज के कलेक्शन को पीछे छोड़ दिया, बल्कि स्टारकिड्स जुनैद खान और खुशी कपूर की फिल्म ‘लवयापा’ को भी बॉक्स ऑफिस पर पछाड़ दिया।
हर्षवर्धन राणे का सफर किसी प्रेरणादायक कहानी से कम नहीं है। एक्टर बनने से पहले उन्होंने कई छोटे-मोटे काम किए। उन्होंने डिलेवरी बॉय के तौर पर काम किया, STD फोन बूथ पर ऑपरेटर की नौकरी की, और यहां तक कि क्लब्स में भी नौकरी तलाशी। हर्षवर्धन ने अपने संघर्ष के दिनों को याद करते हुए बताया कि 2004 में उन्होंने एक STD बूथ पर ऑपरेटर की नौकरी की, जहां उन्हें दिनभर की मेहनत के बाद सिर्फ 10 रुपये मिलते थे। इसके बाद उन्होंने साइबर कैफे में काम किया, जहां उनकी तनख्वाह बढ़कर 20 रुपये हो गई। फिर उन्होंने डिलेवरी बॉय का काम शुरू किया, और इसी दौरान उनकी मुलाकात बॉलीवुड एक्टर जॉन अब्राहम से हुई। हर्षवर्धन ने बताया कि जब वह जॉन अब्राहम के घर हैलमेट डिलेवर करने गए, तो जॉन ने खुद आकर उन्हें धन्यवाद दिया। इस घटना ने हर्षवर्धन को काफी प्रभावित किया।
हर्षवर्धन ने अपने एक्टिंग करियर की शुरुआत 2007 में टीवी सीरियल ‘लेफ्ट राइट लेफ्ट’ से की। इसके बाद उन्होंने साउथ इंडियन फिल्मों में काम करना शुरू किया। 2010 में उन्होंने तेलुगु फिल्म ‘थकिता थकिता’ में काम किया, और 2012 में ‘ना इस्थाम’ जैसी फिल्मों में अपने एक्टिंग का लोहा मनवाया। इसके बाद उन्होंने ‘अवुनु’, ‘प्रेम इश्क कंधाल’, ‘अनामिका’, ‘माया’, ‘गीतांजलि’ और ‘ब्रदर ऑफ बोमाली’ जैसी फिल्मों में काम किया। 2015 में उन्हें बॉलीवुड फिल्म ‘सनम तेरी कसम’ में मौका मिला, लेकिन यह फिल्म बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप हो गई। हालांकि, फिल्म को दर्शकों ने काफी पसंद किया, लेकिन इसके बावजूद हर्षवर्धन का करियर उस समय नहीं चमक पाया।
लेकिन अब 9 साल बाद ‘सनम तेरी कसम’ फिल्म को दोबारा सिनेमाघरों में रिलीज किया गया, और इस बार फिल्म ने बॉक्स ऑफिस पर जबरदस्त कमाई की। फिल्म ने 45 करोड़ रुपये से ज्यादा का कलेक्शन किया, जो कि उसके पहले रिलीज के कलेक्शन से कहीं ज्यादा है। इसके साथ ही फिल्म ने जुनैद खान और खुशी कपूर की फिल्म ‘लवयापा’ को भी पीछे छोड़ दिया। ‘लवयापा’ ने महज 6.55 करोड़ रुपये की कमाई की, जबकि ‘सनम तेरी कसम’ ने उससे 8 गुना ज्यादा कमाई कर सभी को हैरान कर दिया। इसी तरह, हिमेश रेशमिया की फिल्म ‘बैडएस रविकुमार’ ने भी केवल 8.2 करोड़ रुपये का कलेक्शन किया, जो कि ‘सनम तेरी कसम’ के मुकाबले काफी कम है।
हर्षवर्धन राणे का यह सफर साबित करता है कि अगर इंसान में जुनून और मेहनत हो, तो वह किसी भी मुकाम को हासिल कर सकता है। उनकी कहानी न केवल प्रेरणादायक है, बल्कि यह यह भी दिखाती है कि सफलता के लिए संघर्ष करना कितना जरूरी है।

