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तेलंगाना सुरंग हादसा : बचाव अभियान तेज, टीबीएम मशीन से फंसे लोगों तक पहुंचने की कोशिश

तेलंगाना के नागरकुरनूल जिले में एसएलबीसी (श्रीशैलम लेफ्ट बैंक कैनाल) सुरंग हादसे में फंसे आठ श्रमिकों को सुरक्षित निकालने के लिए राहत और बचाव कार्य तेज कर दिया गया है। सुरंग का एक हिस्सा ढह जाने से मजदूर और इंजीनियर अंदर फंस गए थे। बचाव दल उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए लगातार प्रयासरत हैं।

टीबीएम मशीन से बनाया जा रहा रास्ता

फंसे लोगों तक पहुंचने के लिए बचाव दल टनल बोरिंग मशीन (टीबीएम) के जरिए रास्ता बनाने में जुटा है। पुलिस अधीक्षक (एसपी) वैभव गायकवाड़ ने बताया कि राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (एनडीआरएफ), सेना, सिंगरेनी कोलियरीज, ‘रैट होल’ खनिकों और अन्य एजेंसियों की टीमें संयुक्त रूप से कार्य कर रही हैं। उन्होंने बताया कि शनिवार सुबह एक टीम सुरंग के अंदर भेजी गई, जबकि पानी निकालने और मलबा हटाने का काम भी तेजी से किया जा रहा है। टीबीएम के अवरोधक हिस्सों को काटकर रास्ता साफ किया जा रहा है ताकि जल्द से जल्द फंसे हुए श्रमिकों तक पहुंचा जा सके।

फंसे हुए लोगों तक पहुंचने के लिए हर संभव प्रयास

अधिकारियों के अनुसार, सुरंग में कई बाधाएं आ रही हैं, जिन्हें हटाने के लिए प्रयास जारी हैं। कन्वेयर बेल्ट के क्षतिग्रस्त हिस्से की मरम्मत जल्द ही पूरी होने की उम्मीद है। इस बीच, राष्ट्रीय भूभौतिकीय अनुसंधान संस्थान (एनजीआरआई) के वैज्ञानिकों ने ग्राउंड पेनेट्रेटिंग रडार (जीपीआर) तकनीक का इस्तेमाल कर कुछ विसंगतियों का पता लगाया है, जिनकी आगे जांच की जा रही है।

22 फरवरी को हुआ था हादसा

एसएलबीसी सुरंग का एक हिस्सा 22 फरवरी को ढह गया था, जिसमें आठ लोग फंस गए थे। तब से सेना, नौसेना, सिंगरेनी कोलियरीज और अन्य एजेंसियों के 500 से अधिक विशेषज्ञ कर्मी बचाव अभियान में जुटे हुए हैं। फंसे हुए लोगों में उत्तर प्रदेश के मनोज कुमार और श्रीनिवास, जम्मू-कश्मीर के सनी सिंह, पंजाब के गुरप्रीत सिंह और झारखंड के संदीप साहू, जेगता जेस, संतोष साहू और अनुज साहू शामिल हैं। इनमें से दो इंजीनियर, दो ऑपरेटर और चार मजदूर हैं, जो एसएलबीसी सुरंग परियोजना पर काम कर रहे ठेकेदार जयप्रकाश एसोसिएट्स के कर्मचारी हैं।

राहत और बचाव अभियान लगातार जारी है, और अधिकारियों को उम्मीद है कि जल्द ही सभी श्रमिकों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया जाएगा।

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