पाकिस्तान के कुज़दार, बलूचिस्तान में हाल ही में एक दर्दनाक घटना घटी है, जिसमें पाकिस्तानी सेना की नृशंसता और बौखलाहट साफ झलकती है। भारत से मिली हार के बाद पाक सेना पूरी तरह से अस्थिर हो चुकी है और उसकी यह ताजा बौखलाहट चार मासूम बच्चों की जान लेने का कारण बनी। बताया जा रहा है कि पाकिस्तानी सेना ने अपने ही देश के बच्चों को निशाना बनाते हुए ड्रोन से हमला किया, जिसमें चार बच्चों की दर्दनाक मौत हो गई और साथ ही 38 लोग, जिनमें बच्चे और महिलाएं भी शामिल हैं, गंभीर रूप से घायल हुए हैं।
यह हमला खैबर पख्तूनख्वा के उत्तरी वजीरिस्तान इलाके में हुआ, जहां पाक सेना ने ड्रोन के जरिए रिहायशी इलाकों पर बम गिराए। यह हमला रात के समय किया गया, जब बच्चे और महिलाएं गहरी नींद में थीं। इस कायराना और बेरहम कार्रवाई ने पूरे पाकिस्तान में गहरा आक्रोश पैदा कर दिया है।
मृत बच्चों के शवों को लेकर भारी संख्या में लोग मीर अली कैंटोनमेंट के गेट पर जमा हो गए और उन्होंने जमकर विरोध प्रदर्शन किया। पेशावर के छात्रों ने भी पाक सरकार और सेना के खिलाफ प्रदर्शन कर अपनी नाराजगी जताई। सेना प्रमुख आसिम मुनीर और उनकी सेना की इस निर्दयता पर जनता में भारी रोष है, लेकिन अब तक न तो सेना प्रमुख ने इस घटना पर कोई प्रतिक्रिया दी है और न ही पाकिस्तान सरकार ने कोई कदम उठाया है।
जब रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ से इस मामले में सवाल किए गए, तो वे बिना कोई जवाब दिए वहां से भाग गए। पाकिस्तान में इस घटना को लेकर गहरा बवाल मचा हुआ है, और कई पत्रकार इस क्रूरता को देश की सेना का असली चेहरा बता रहे हैं। शुरुआती रिपोर्ट में यह बताया गया था कि बलूचिस्तान के कुज़दार जिले में हुआ यह हमला एक आत्मघाती बम धमाका था, जिसमें एक स्कूल बस को निशाना बनाया गया था, लेकिन अब स्पष्ट हो गया है कि यह पाक सेना की ही एक क्रूर ड्रोन स्ट्राइक थी।

