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नालंदा में महिला की गोली मारकर हत्या, परिवार ने जीविका की सीएम रेखा देवी पर लगाया गंभीर आरोप, पुलिस जांच में जुटी l

बिहार के नालंदा जिले के चंडी थाना क्षेत्र में रविवार की सुबह एक भयावह घटना सामने आई है। यहां 55 वर्षीय सरिता देवी की गोली मारकर हत्या कर दी गई। मृतका के सिर और पीठ में दो गोलियां लगी हुई थीं। उनका शव कोयल बिगहा-पहाड़पुर मार्ग के किनारे खेत में फेंका पाया गया, जिससे पूरे इलाके में सनसनी फैल गई।

सरिता देवी, जो वेना थाना क्षेत्र के गंगाबिगहा गांव की निवासी थीं और रामप्रवेश यादव की पत्नी थीं, की हत्या को लेकर परिजनों ने जीविका समूह की कम्युनिटी मोबलाइजर (सीएम) रेखा देवी को सीधे तौर पर आरोपी ठहराया है। परिवार के मुताबिक, सरिता देवी ने रेखा देवी को लगभग 5 लाख रुपये का लोन दिया था, जिसे लेकर दोनों के बीच विवाद चल रहा था। आरोप है कि इसी लेन-देन के विवाद में रेखा देवी ने सरिता देवी को बहाने से घर से बुलाया और हत्या कर दी।

परिजनों ने बताया कि शनिवार की शाम सरिता देवी को रेखा देवी ने किसी काम के बहाने घर से बाहर बुलाया था, जिसके बाद वो देर रात तक वापस नहीं आईं। रविवार की सुबह स्थानीय लोगों ने शव की सूचना पुलिस को दी।

घटना की जानकारी मिलते ही चंडी थाना पुलिस और हिलसा की एएसपी कुमारी शैलजा घटनास्थल पर पहुंचीं। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए बिहार शरीफ मॉडल अस्पताल भेजा है। जांच में पता चला है कि महिला की हत्या गोली मारकर की गई है। पुलिस ने मौके से साक्ष्य इकट्ठे करने के लिए अपराध अनुसंधान विभाग (एफएसएल) की टीम को बुलाया है और मामले की व्यापक जांच जारी है।

पुलिस का कहना है कि प्रारंभिक जांच में यह स्पष्ट हुआ है कि हत्या का कारण पैसे के लेन-देन को लेकर विवाद है। पुलिस आरोपी तक पहुंचने और गिरफ्तारी के लिए लगातार कार्रवाई कर रही है। एएसपी शैलजा ने आश्वासन दिया है कि मामले की गहनता से जांच की जा रही है तथा जल्द ही अपराधी गिरफ्तार किए जाएंगे।

यह घटना नालंदा जिले में महिलाओं की सुरक्षा और प्रशासनिक जिम्मेदारी पर सवाल खड़े करती है। स्थानीय प्रशासन ने पीड़ित परिवार को न्याय दिलाने के लिए हर संभव कदम उठाने की बात कही है। साथ ही, समाज में ऐसे अपराधों को रोकने के लिए कड़े कदम उठाने की जरूरत भी महसूस की जा रही है।

नालंदा के चंडी थाना क्षेत्र में सरिता देवी की हत्या ने इलाके में भय और चिंता का माहौल बना दिया है। आर्थिक विवाद के कारण हुई इस घटना की जांच तेज़ी से आगे बढ़ रही है। परिवार न्याय की उम्मीद कर रहा है, जबकि पुलिस मूल कारणों और आपराधिक योजना को उजागर कर सख्त कार्रवाई के लिए प्रतिबद्ध है। स्थानीय प्रशासन एवं कानून व्यवस्था की चौकसी इस प्रकार की घटनाओं को रोकने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।

यह दुखद वारदात बिहार में कानून व्यवस्था और सामाजिक सुरक्षा की स्थिति पर गंभीर सोचने का विषय है।

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